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मुख्यमंत्री Ashok Gehlot आज पहली बार सार्वजनिक कार्यक्रम में आए नजर

Jaipur: एजियोंप्लास्टी के बाद स्वास्थ्य लाभ ले रहे मुख्यमंत्री अशोक गहलोत (CM Ashok Gehlot) आज पहली बार सार्वजनिक कार्यक्रम में नजर आए. सीएम गहलोत डूंगरपुर के कृषि महाविद्यालय के शुभारंभ समारोह में वीडियो कांफ्रेंस कॉल के जरिए जुड़े. बता दें कि वीडियो कांफ्रेंस के जरिए जुड़े मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने कहा कि केंद्र सरकार किसानों की भावनाओं की अनदेखी कर रही है, लेकिन राजस्थान सरकार किसानों के मुद्दों को हल करने में पीछे नहीं रहेगी. 

कार्यक्रम में विधायक और यूथ कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष गणेश घोघरा अपने संबोधन के दौरान भावुक हो गए. उन्होंने मुख्यमंत्री अशोक गहलोत की तुलना सम्राट अशोक से करते हुए कहा राजस्थान के लिए जो काम अशोक गहलोत ने किया है वह कोई सीएम नहीं कर सकता. मुख्यमंत्री ने कहा कि आजादी के बाद से ही प्रधानमंत्री जवाहरलाल नेहरू ने देश में किसी को प्रमुख स्थान पर रखा था. देश में बड़ी-बड़ी सिंचाई परियोजनाएं बनी थी. एक समय था जब गेहूं अमेरिका से आता था, लेकिन योजनाबद्ध तरीके से काम हुआ और अनाज के मामले में आत्मनिर्भर बन गया. 

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राजस्थान सरकार भी किसानों को आत्मनिर्भर बनाने के लिए हर संभव प्रयास करने में जुटी है. राजस्थान में कृषि के क्षेत्र में पांच विश्वविद्यालय खोले गए हैं. अगली बार किसानों के लिए अलग से बजट पेश होगा. देश की अन्य राज्यों की सरकारें भी इसका अनुसरण कर रही हैं. तमिलनाडु ने इस बार अलग से कृषि बजट पेश किया है. राजस्थान सरकार ने किसानों की अलग से बिजली कंपनी खोलने का फैसला किया है. सीएम किसान ऊर्जा मित्र के तहत 1000 रुपये देने का निर्णय हमने किया है. किसानों के लिए बिजली की दरों में इजाफा नहीं किया गया है.

मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने कहा कि समय आ गया है जब एग्रो फूड प्रोसेसिंग के चक्कर में किसानों को आगे आना होगा. राजस्थान सरकार ने इस संबंध में शानदार नीति बनाई है. किसान अपने खेत में प्रोसेसिंग यूनिट लगा सकते हैं, लेकिन दुख इस बात का है कि अभी तक किसान इस क्षेत्र में आगे नहीं आ रहे हैं. किसानों को इस योजना के बारे में पर्याप्त जानकारी का अभाव है. किसानों की जगह व्यापारी यह काम करने लगे हैं, जबकि सरकार 2 करोड़ तक का अनुदान दे रही है. किसानों को इस मामले में आगे आना होगा. सरकार को भी अभियान चलाकर यह जानकारी किसानों तक पहुंचानी होगी.

कार्यक्रम में राज्यपाल कलराज मिश्र ने मुख्यमंत्री के स्वस्थ होकर फिर से सक्रिय होने पर प्रसन्नता जाहिर की. कलराज मिश्र ने कहा मुख्यमंत्री ने नए कॉलेज की स्थापना के लिए बजट में घोषणा की थी, उनका क्रियान्वयन भी अब किया जा रहा है. निश्चित तौर पर खेती के लिए बेहतर काम हो सकेगा. कृषि शिक्षा में गुणात्मक सुधार की आवश्यकता जताते हुए राज्यपाल ने कहा कि अब सैद्धांतिक नहीं व्यावहारिक तौर पर भी काम करना जरूरी है. 

यह निराशाजनक है कि युवाओं का कृषि की तरफ रुझान कम होता जा रहा है. अगर कृषि के क्षेत्र में युवाओं के लिए रोजगार के अच्छे अवसर हैं तो अपार संभावनाएं हैं. राज्यपाल कलराज मिश्र ने खेती आधुनिक तरीकों को अपनाने पर जोर दिया. कलराज मिश्र ने कहा विश्वविद्यालय में युवाओं को सफल उद्यमी के तौर पर तैयार करने की आवश्यकता है. युवाओं को कृषि क्षेत्र में स्टार्टअप शुरू करने के लिए भी प्रेरित किया जाए.

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कार्यक्रम में जुड़े विधायक गणेश घोघरा ने मुख्यमंत्री अशोक गहलोत की जमकर तारीफ की. गणेश घोघरा ने कहा कि सीएम की इस पहल से आदिवासी अंचल को बड़ा फायदा होगा. गहलोत सरकार ने हमेशा कृषि को लेकर बड़े और जरूरी फैसले किए हैं. अपने संबोधन के दौरान विधायक गणेश घोघरा भावुक हो गए और उन्होंने मुख्यमंत्री अशोक गहलोत की तुलना महान सम्राट अशोक से करते हुए कहा राजस्थान में जो काम अशोक गहलोत ने किया है वह कोई मुख्यमंत्री नहीं कर सकता है.

मुख्यमंत्री की बजट घोषणा के अनुरूप शुरू हुए कृषि महाविद्यालय में 70 छात्रों ने प्रवेश ले लिया है. इस महाविद्यालय से आदिवासी क्षेत्र के युवाओं को निश्चित तौर पर कृषि के क्षेत्र में अध्ययन के लिए ना केवल बेहतर सुविधाएं मिलेंगी बल्कि क्षेत्र की प्रतिभाओं को नए अवसर दिलाने में भी यह महाविद्यालय मील का पत्थर साबित होगा.

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