शिमला हिमदेव न्यूज़ 08 सितंबर 2022 हिमाचल प्रदेश के ग्रामीण क्षेत्रों के गरीब परिबारों के होनहार बच्चों को उच्च शिक्षा सुनिश्चित करने के लिए इंग्लैंड में एक अप्रबासी भारतीय ने एक ट्रस्ट स्थापित किया है। हिमाचल प्रदेश के ऊना जिला के 47 वर्ष चिन्तपूर्णी क्षेत्र के निवासी अनिल चंदेल पिछले लगभग तीन सालों से पिछड़े , दुर्गम और गरीब परिवारों के बच्चों की शिक्षा के लिए इवेंट्स आयोजित करके फण्ड इकठा कर रहे हैं तथा बह अब तक हिमाचल प्रदेश में पढ़ने बाले लगभग 250 बच्चों की मदद कर चुके हैं। दानबीर अनिल चन्देल और उनकी धर्मपत्नी श्रीमती इन्दरपाल कौर चन्देल ने दिसम्बर 2018 में “परेशियस मोमेंट्स संस्था के बैनर के तले इंग्लैंड, अमेरिका और कनाडा में बसे हिमाचली तथा पंजाबियों को जोड़ कर हिमाचल प्रदेश में उच्च शिक्षा में होनहार और प्रतिभान बच्चों को शिक्षित करने की मूहिम शुरू की और कुछ ही समय में उन्हें अप्र बासी भारतीयों का जबरदस्त रिस्पांस मिला जिससे उत्साहित होकर उन्होंने मार्च 2021 में ” समेडफन ” नाम का ट्रस्ट स्थापित कर लिया। ट्रस्ट के बिधिबत स्थापना के बाद दम्पति ने ग्रेटर लन्दन में 2018 में क्रिसमस में साउथ हॉल में , दिवाली 2019 में साउथ हॉल में , होली में 2019 में वीकॉम्बे में , मदेनहेड में 2019 में बॉलीवुड गाला और डेन्हम में बर्ष 2020 में होली उत्सव का आयोजन करके फण्ड इकठा किया। श्रीमती इन्दरपाल कौर चन्देल का सम्बन्ध लुधियाना ( पंजाब ) के संभ्रात परिबार से है जिसकी बजह से बह इंग्लैंड में मुख्यता क्षेत्र के प्रभाबशाली पंजाबी समुदाय को ट्रस्ट से जोड़ने में सफल रहीं।शुरू में ट्रस्ट के खर्चों को रोकने के लिए उन्होंने शुरूआती इवेंट्स अपने घर में ही आयोजित की ताकि उन्हें हॉल , खाने , डेकोरेशन तथा अन्य खर्चे न करने पड़ें। इवेंट्स में भाग ले रहे लोगों को बह घर पर ही स्वयं भोजन बनाती तथा बाकि ब्यबस्था उनके परिबार के लोग करते ताकि ज्यादा से ज्यादा फण्ड बचाये जा सकें। अपने इस मिशन के प्रति ज्यादा से ज्यादा लोगों को जोड़ने के लिए उन्होंने इंग्लैंड के दूसरे हिस्सों में भी फण्ड इक्क्ठा करने के लिए इवेंट्स आयोजित करनी शुरू की जिससे ट्रस्ट का दायरा बढ़ाया जा सके। अपनी इवेंट के बारे में लोगों को आकर्षित करने के लिए दम्पति फेस बुक , ट्विटर आदि सोशल मीडिया का उपयोग करते हैं और फिर टिकट , खाने , गेमों , तम्बोला आदि के माध्यम से फण्ड इक्क्ठा करते हैं। इस दम्पति के बच्चे कुमारी महक चन्देल , मिस्टर अक्षत चन्देल और आरव चन्देल सभी इवेंट्स में आई टी कार्य , मटेरियल , पैकेजिंग और अन्य ब्यबस्था में अपने पेरेंट्स का हाथ बंटाते हैं और इस तरह पूरा परिबार इस नेक कार्य में अपनी आहुति देता है .इनकी इवेंट्स में अगर सहभागियों की संख्या पचास तक हो तो परिबार के लोग खुद ही खाना बनाते है और अगर संख्या पचास से बढ़ जाये तभी किसी कैटरर्स को बुलाया जाता है। श्रीमती इन्दर पाल कौर चन्देल का कहना है की उनकी संस्था अभी तक हिमाचल प्रदेश के लगभग 250 मेधाबी छात्रों को फीस , किताबों आदि के लिए मदद कर चुकी है। ट्रस्ट में ऊना जिला के अम्ब के एक स्कूल को कम्प्यूटर और आई टी से संबद्ध ढांचागत सुबिधाये प्रदान की हैं।
कोविड महामारी के पीक सीजन के दौरान समाजिक मेल जोल पर बैन के दौरान उन्होंने ऑनलाइन मसाला चाय बेच कर फण्ड इक्क्ठा किया। बह मानसिक स्वास्थ्य के प्रति जागरूकता पैदा करने के लिए व्हाट्सएप्प ग्रुप के माध्यम से अन्ताक्षरी भी चलाते हैं।
श्रीमती इन्दर पाल कौर चन्देल अपने घर साउथ हॉल लन्दन में गरीब परिबारों के बच्चों को पिछ्ले दस बरसों से मुफ्त टियूशन पढ़ा रहीं हैं लन्दन में भारतीय उच्चायोग द्वारा आयोजित आज़ादी के अमृत महोत्सव में इस ट्रस्ट के माध्यम से पहली बार सरकारी समारोह में हिमाचली नाटी का आयोजन किया गया जिसे दर्शकों ने जम कर सराहा।
श्रीमती इन्दर पाल कौर चन्देल का कहना है की बह बच्चों को उनकी आकांक्षाओं के अनुरूप शिक्षित करने का भरसक प्रयत्न कर रहीं है। उनका कहना है की अच्छी शिक्षा गरीबी के दुष्चक्र को तोड़ने पचास तक हो तो परिबार के लोग खुद ही खाना बनाते है और अगर संख्या पचास से बढ़ जाये तभी किसी कैटरर्स को बुलाया जाता है। श्रीमती इन्दर पाल कौर चन्देल का कहना है की उनकी संस्था अभी तक हिमाचल प्रदेश के लगभग 250 मेधाबी छात्रों को फीस , किताबों आदि के लिए मदद कर चुकी है। ट्रस्ट में ऊना जिला के अम्ब के एक स्कूल को कम्प्यूटर और आई टी से संबद्ध ढांचागत सुबिधाये प्रदान की हैं।
कोविड महामारी के पीक सीजन के दौरान समाजिक मेल जोल पर बैन के दौरान उन्होंने ऑनलाइन मसाला चाय बेच कर फण्ड इक्क्ठा किया। बह मानसिक स्वास्थ्य के प्रति जागरूकता पैदा करने के लिए व्हाट्सएप्प ग्रुप के माध्यम से अन्ताक्षरी भी चलाते हैं
श्रीमती इन्दर पाल कौर चन्देल अपने घर साउथ हॉल लन्दन में गरीब परिबारों के बच्चों को पिछ्ले दस बरसों से मुफ्त टियूशन पढ़ा रहीं हैं लन्दन में भारतीय उच्चायोग द्वारा आयोजित आज़ादी के अमृत महोत्सव में इस ट्रस्ट के माध्यम से पहली बार सरकारी समारोह में हिमाचली नाटी का आयोजन किया गया जिसे दर्शकों ने जम कर सराहा।
श्रीमती इन्दर पाल कौर चन्देल का कहना है की बह बच्चों को उनकी आकांक्षाओं के अनुरूप शिक्षित करने का भरसक प्रयत्न कर रहीं है। उनका कहना है की अच्छी शिक्षा गरीबी के दुष्चक्र को तोड़ने में मददगार साबित होती है।