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Pakistan agency ISI recruiting youth in Taliban style to attack India | आतंकियों की घटती संख्या से परेशान Pakistan ने बनाया ये तालिबानी प्लान, भारतीय एजेंसियां Alert

नई दिल्ली: लाइन ऑफ कंट्रोल (LOC) से लेकर के इंटरनेशनल बॉर्डर पर भारतीय सेना और सुरक्षाबलों (Indian Forces) की कड़ी चौकसी के चलते सीमा पार से आतंकियों की घुसपैठ में काफी कमी देखी जा रही है. वहीं दूसरी तरफ जो आतंकी जम्मू कश्मीर में मौजूद हैं उनके खिलाफ सुरक्षा बल लगातार ऑपरेशन कर रहे हैं, जिससे पिछले कुछ सालों में आतंकियों के कई कमांडर्स मुठभेड़ में ढेर हो चुके हैं. नतीजतन कश्मीर में आतंकियों की संख्या और आतंकी घटनाओं में लगातार गिरावट देखी जा रही है.

दिखा रहे Taliban के वीडियो 

आतंकी संगठनों में युवाओं के रुझान में कमी को देखकर पाकिस्तान (Pakistan) की खुफिया एजेंसी ISI परेशान है और अब युवाओं को आतंक की राह में धकेलने के लिए सोशल मीडिया के जरिए ऑनलाइन रेडिकलाइजेशन के साथ-साथ तालिबान (Taliban) के ऐसे वीडियोज को सोशल मीडिया के जरिए शेयर किए जा रहे हैं, जिनमें तालिबान को अमेरिकी सेना और अफगानी सुरक्षा बलों को हराकर अफगानिस्तान पर कब्जा करते दिखाया गया है.

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Social Media पर नजर  

युवाओं को रेडिकलाइज कर उन्हें जिहाद में धकेलने की कोशिश की जा रही है, ताकि उनका ब्रेन वॉश कर भारत पर आतंकी हमले के लिए तैयार किया जा सके. पाकिस्तान के जेहादी प्लान को नाकाम करने के लिए भारतीय सुरक्षा एजेंसियों सोशल मीडिया पर लगातार नजर रख रही हैं. Wilyah-al- Hind ,Voice of Hind से जुड़े कई ट्विटर अकाउंट्स पर नजर रखी जा रही है.

NIA ने किया था आगाह

अभी हाल ही में नेशनल इन्वेस्टीगेशन एजेंसी (NIA) ने ऑनलाइन रेडिकलाइजेशन के खतरे को आगाह करते हुए कहा था कि आतंकी संघटन ट्विटर, फेसबुक और इंस्टाग्राम जैसे सोशल मीडिया मंचों पर भोले-भाले युवकों को फंसाने की कोशिश कर रहे हैं. इसके बाद ऐसे युवकों को ऑनलाइन हैंडलरों से संपर्क करने को कहा जाता है. NIA ने लोगों से इंटरनेट पर ऐसी किसी भी गतिविधि की जानकारी एजेंसी से साझा करने की अपील की है.

82 युवाओं का किया Brainwash

भारतीय सुरक्षा एजेंसियों की एक रिपोर्ट के मुताबिक भले ही इस साल 31 अगस्त तक 110 आतंकियो को अलग-अलग मुठभेड़ में मार गिराया गया हो, उसके बावजूद आतंकी गुट 82 के करीब युवाओं का ब्रेनवॉश कर आतंक की राह में धकेलने में कामयाब हुए हैं. हैरानी की बात ये है कि आतंकियों की भर्ती का एपीसेंटर साउथ कश्मीर की 4 जगह, अनंतनाग, पुलवामा, कुलगाम और शोपियां हैं जहां से 68 युवाओं ने आतंक की राह पकड़ी है. 

इन आतंकी संगठनों से जुड़े 

खुफिया एजेंसियों के एक अधिकारी ने बताया कि इस साल 31 अगस्त तक सबसे ज्यादा 48 युवा लश्कर-ए-तैयबा, 16 युवा हिजबुल मुजाहिदीन, 6 जैश-ए-मोहम्मद , 11 अलबदर और अंसार गजवत में एक युवा शामिल हुआ है. आतंकी संगठनों से जुड़ने वाले युवाओं के परिवारों से एजेंसी सपर्क में है, लेकिन फिर भी कई युवाओं के गायब होने की खबर साउथ कश्मीर के इलाकों से आई है.

 

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