आज इंडियन नेशनल कैलेंडर के अनुसार राष्ट्रीय सौर दिनांक INC 11 फाल्गुन 1944
???????? आज ग्रेगोरियन अंग्रेजी दिनांक 02 मार्च 2023
???????? इसका प्रयोग हमें चैक,NEFT, प्रवेश पत्र, जन्म मृत्यु प्रमाण पत्र, आदि पर
अंग्रेजी में चेक लिखना हो तब INC 11 PHGN 1944
हिंदी में चेक भरना हो तब
राष्ट्रीय सौर 11 फाल्गुन 1944 इस प्रकार लिखना चाहिए।
???? राष्ट्रीय कैलेंडर के अनुसार प्रचलित नाम चैत्र वैशाख ज्येष्ठ आषाढ़ श्रावण भाद्रपद आश्विन कार्तिक अग्रहायण पौष माघ फाल्गुन है परंतु प्राचीन भारत में यजुर्वेद में इनके नाम इस प्रकार हैं मधु माधव शुक्र शुचि नभ नभस्य इष ऊर्ज सह सहस्य तप तपस्या इस प्रकार है और इनका आरंभ लगभग 22 तारीख से होता है
???? मंदिर सूचना पट्ट, कथा, कीर्तन, विवाह शादी, गृह प्रवेश निमंत्रण पत्र आदि पर दिनांक इस प्रकार लिखें 11 फाल्गुन 1944 (5124)???? ओम विष्णु विष्णु विष्णु श्रीमद् भगवतो महत् पुरुषस्य विष्णो राजया प्रवर्तमानस्य अद्य ब्रह्मणो द्वितीये परार्धे श्री श्वेत वराह कल्पे सप्तमे वैवस्वत मन्वंतरे अष्टा विंशति तमे कलियुग संबत 5124 फाल्गुन मासे (वैदिक नाम तपस्य मासे) दिनांक 11 गुरु वार वासरे ……. नामक स्थाने ( अपना गोत्र ब नाम ) पूजा अहम् करिष्यामी???????? राष्ट्रीय शक् संवत् (सन्)1944
???? विक्रमी संवत् (सन्) 2079
???? युगाब्द या कलियुग संवत् 5124
???? श्री कृष्ण संवत् (सन्) 5249
???? श्री राम संवत्(सन्) 880165
???? सृष्टि संवत् 1955885123???? संवत्सर नल ???? उत्तरायण
???? ऋतु वसन्त
???? वेदों के अनुसार इस महीने का नाम तपस्य मास है
???? चन्द्र के अनुसार महीना फाल्गुन पक्ष शुक्ल
???? तिथि एकादशी परंतु एकादशी का व्रत 3 मार्च शुक्रवार को
???? वार गुरु वार
???? नक्षत्र आर्द्रा दोपहर 12:42 तक तदुपरांत पुनर्वसु
???? दिनमान 28 घटी 42 पल (एक दिन रात 60 घटी अथवा 24 घंटे का होता है)
????सूर्य उदय 6:49 सूर्य अस्त 6:18
???? कुंभ राशि में सूर्य संक्रान्ति से प्रविष्टे 18
???? दिशाशूल दक्षिण (यदि यात्रा आवश्यक हो तो जीरा या दही खाकर घर से निकले, हमने किसी स्थान पर जाना है और वहां से उसी दिन वापस आना है तो दिशाशूल नहीं होता)
???? अभिजीत मुहूर्त दोपहर 12:10 to 12:56
(इस समय किये गये कार्य की रक्षा स्वयं भगवान विष्णु करते हैं)
???? राहुकाल 2:00 pm से 03:27 pm तक ( इस समय में कोई भी शुभ कार्य नहीं करना चाहिए ऐसा दक्षिण भारत में मान्यता है)
???? यह पंचांग दिल्ली के अक्षांश रेखांश पर आधारित है।
???? गंडमूल 4 मार्च शाम 6:40 से 6 मार्च रात्रि 12:00 बजे तक
???? पंचक
???? होलाष्टक प्रारंभ 27 फरवरी सोमवार
???? लठमार होली नंदगांव 1 मार्च बुधवार
???? आमलकी एकादशी व्रत 3 मार्च शुक्रवार
???? मेला खाटू श्याम राजस्थान, प्रदोष व्रत 4 फरवरी शनिवार
???? सत्यनारायण व्रत 6 मार्च सोमवार
???? पूर्णिमा स्नान दान, होलिका दहन, नवान्नेष्टि, चैतन्य महाप्रभु जयंती, अष्ट्राह्निका जैन समाप्त 7 मार्च मंगलवार
???? बसंत उत्सव, रंग वाली होली, धुलैण्डी, गणगौर पूजन आरंभ 8 मार्च बुधवार
???? सर्वार्थ सिद्धि योग 2 मार्च दोपहर 12:42 से 3 मार्च शाम 3:42 तक(इस मुहूर्त में किए गए सभी कार्य सिद्ध होते हैं)
???? सर्वार्थसिद्धि योग 11 मार्च प्रातः 7:10 से 12 मार्च प्रातः 6: 38 तक
???? द्विपुष्कर योग 19 मार्च 00:28 am से लेकर 8:07 am तक(इस समय में किया गया कार्य दोगुना होता है)
???? ज्वालामुखी योग ( इस समय किया हुआ कार्य सफल नहीं होता)








